क्या AI Content गूगल पर रैंक कर सकता है, क्या है गूगल का ChatGPT कंटेंट पर कहना?
जब कोई ब्लॉगर अपने ब्लॉग पर AI-जनरेटेड कंटेंट पोस्ट करता है, तो उसके मन में सबसे पहला सवाल यही उठता है कि क्या AI Content गूगल पर रैंक कर सकता है, इस लेख में हम इस सवाल का जवाब देंगे और साथ ही आपको यह भी बताएंगे कि AI कंटेंट के बारे में Google का क्या कहना है.
ChatGPT और Google Bard जैसे AI टूल्स के आने से कंटेंट बनाने का तरीका बदल गया है, कई Youtubers का दावा है कि वे ChatGPT से कंटेंट बनाकर अच्छी कमाई कर रहे हैं और यह गूगल पर रैंक भी कर रहा है, जिसे देखकर कई नए ब्लॉगर भी ChatGPT से कंटेंट लिखने लगते हैं, लेकिन उन्हें कोई खास सफलता नहीं मिल रही है.
क्या आप भी ChatGPT या किसी अन्य AI टूल से कंटेंट लिखने के बारे में विचार बना रहे हैं, यदि हां तो इस ब्लॉग पोस्ट को अंत तक जरूर पढ़ें, यह आर्टिकल आपके लिए काफी हेल्पफुल होने वाला है, तो चलिए इस लेख में इस सवाल का विस्तार से जवाब देते हैं और समझते हैं कि गूगल AI-जनरेटेड कंटेंट के बारे में क्या सोचता है.
क्या AI जनरेटेड कंटेंट Google पर रैंक कर सकता है?
AI जनरेटेड कंटेंट को रैंक करने से पहले, यह जानना ज़रूरी है कि क्या Google इसे Index करता है, क्योंकि जब कोई कंटेंट गूगल में इंडेक्स होता है तभी वह गूगल पर रैंक करता है. यहाँ मैं आपको निम्नलिखित दो पॉइंट के आधार पर इस प्रश्न का सटीक उत्तर देने का प्रयास करूँगा.
1. Google के अनुसार
2. मेरे व्यक्तिगत अनुभव के आधार पर
#1. गूगल के अनुसार क्या AI Content रैंक करेगा
गूगल की पुरानी गाइडलाइन के अनुसार पहले Google AI से जनरेट किए गए कंटेंट को सीधे तौर पर रैंक देने के Against था, हालांकि Google ने अपनी खोज एल्गोरिदम में कई बदलावों के साथ AI की पॉवर को समझते हुए AI कंटेंट के लिए नई गाइडलाइन बनाई हैै.
गूगल की इस नयी गाइडलाइन के अनुसार अगर आपका कंटेंट गूगल की Helpful Content System और EEAT को Satisfy कर रहा है तो गूगल आपके कंटेंट को अपने सर्च रिजल्ट में अच्छी रैंकिंग देगा, फिर चाहे आपने यह कंटेंट खुद लिखा है या या AI से जरनेट किया हो.
गूगल सर्च इंजन हमेशा ओरिजनल और अच्छी क्वालिटी के कंटेंट को सर्च रिजल्ट पेज में अच्छी रैंकिंग देता है गूगल का मानना है कि कंटेंट केवल रैंकिंग के लिए नहीं बल्कि कंटेंट को वास्तव में लोगों के लिए लिखा गया हो और आपके कंटेंट से पढने वाले को कुछ value मिल रही हो.
अगर आप ऐसा कंटेंट बना लेते हैं जो यूजर के लिए Valuable और Useful है और आपका कंटेंट Google के Helpful Content System और EEAT पर फिट बैठता है, तो Google आपके कंटेंट को सही तरीके से इंडेक्स और रैंक करेगा, आइए Google के इन दो रैंकिंग सिग्नल के बारे में संक्षेप में जानते हैं.
• Helpful Content System
हेल्पफुल कंटेंट सिस्टम के ज़रिए, Google यह सुनिश्चित करता है कि कि आपका कंटेंट लोगों के लिए लिखा गया है, न कि सिर्फ़ सर्च इंजन के लिए ऑप्टिमाइज़ किया गया है.
यदि आप पाठकों की परवाह किए बिना अपने कंटेंट को केवल सर्च इंजन में रैंक करने के लिए ऑप्टिमाइज़ करते हैं तो यह रैंकिंग सिग्नल आपके ब्लॉग की रैंकिंग को डाउन कर देता है.
कोई भी ऐसा कंटेंट जो AI से जनरेट किया गया हो या किसी ह्यूमन राइटर ने लिखा हो अगर वह यूजर के लिए Useful है तो ऐसा कंटेंट पब्लिश करने वाली वेबसाइट को इस अल्गोरिदम से रैंकिंग में फायदा मिलेगा.
• EEAT
EEAT का फुल फॉर्म होता है - Expertise, Experience, Authoritativeness, और Trustworthiness.
यह एक ऐसा रैंकिंग सिग्नल है जिसके द्वारा Google यह सुनिश्चित करता है कि यूजर्स को सही और विश्वसनीय इनफार्मेशन मिले.
Expertise (विशेषज्ञता) - आप जिस विषय पर आर्टिकल लिख रहे हैं यदि आप उस विषय के एक्सपर्ट हैं तो आपको इसका फायदा रैंकिंग में मिलेगा.
Experience (अनुभव) - आप जिस विषय में आर्टिकल लिख रहें हैं उसमें आपको कितना अनुभव है या आपने उसका वास्तविक अनुभव किया है. यदि आप किसी प्रोडक्ट का Review लिखते हैं तो उसमें अपने अनुभवों को शामिल करने से आपको रैंकिंग में फायदा मिलेगा.
Authoritativeness (आधिकारिकता) - आप जिस विषय पर कंटेंट लिख रहें हैं उस विषय पर ब्लॉग लिखने का आपके पास अधिकार या अथॉरिटी होनी चाहिए.
Trustworthiness (विश्वसनीयता) - गूगल यह चेक करता है कि लिखे गए कंटेंट पर यूजर द्वारा कैसे इंटरैक्ट किया जा रहा है, वह आपके कंटेंट पर कितना भरोसा कर रहे हैं, Google आपके ब्लॉग पर यूजर द्वारा की गई हर गतिविधि को ट्रैक करता है, अगर Google को लगता है कि लोगों को आपके कंटेंट पर भरोसा है तो आपको रैंकिंग में फायदा मिलेगा.
#2. AI Content पर मेरा अनुभव
Youtube पर वीडियो देखने के बाद मैंने एक ब्लॉग शुरू किया जिसमें सभी आर्टिकल ChatGPT का उपयोग करके लिखे थे, शुरू में तो सब कुछ ठीक चल रहा था, गूगल मेरी पोस्ट को इंडेक्स कर रहा था और कुछ को अच्छी रैंकिंग भी मिल रही थी, मैंने एफिलिएट और एडसेंस के जरिए उस ब्लॉग से थोडा बहुत इनकम भी कर ली थी.
लेकिन धीरे धीरे मेरे कुछ आर्टिकल Deindex होने लगे और कई सारे आर्टिकल जो रैंक कर रहे थे उनकी रैंकिंग डाउन होने लगी और मेरा ट्रैफ़िक भी बहुत डाउन हो गया, छटे महीने में जहाँ पहले ब्लॉग पर लाखों इंप्रेशन मिलते थे, अब प्रतिदिन दस पंद्रह भी नहीं मिल रहे थे, जिसके बाद मैंने उस ब्लॉग को बंद कर दिया.
इसका मुख्य कारण था ChatGPT पर मेरा पूरा डिपेंड होना, मैं ChatGPT द्वारा तैयार किए गए कनेंट को थोड़े बहुत बदलाव के साथ अपने ब्लॉग पर पोस्ट करता था, बाद में मुझे समझ में आया कि Google सिर्फ़ एक सर्च इंजन नहीं है, बल्कि यह ओरिजनल और यूनिक कंटेंट की तलाश करता है.
हालांकि ChatGPT एक पावरफुल टूल है, यह आर्टिकल लिखने की फास्ट प्रोसेस और नए ideas को खोजने में हेल्पफुल है, लेकिन इसे सिर्फ एक टूल के रूप में इस्तेमाल किया जाना चाहिए.
मेरे ब्लॉग के फेल होने का कारण मेरी गलती थी. तो दोस्तो यह Ai कंटेंट पर मेरा व्यक्तिगत अनुभव था. आगे मैं आपको बताऊंगा कि कैसे आप कंटेंट लिखने में ChatGPT की मदद ले सकते हैं.
आर्टिकल लिखने में ChatGPT का उपयोग कैसे करें?
आर्टिकल को यहां तक पढ़ने के बाद आपके कई सारे सवालों के जवाब मिल गए होंगे, आइए अब हम समझते हैं कि हम ChatGPT या किसी अन्य AI टूल का इस्तेमाल आर्टिकल लिखने में कैसे कर सकते हैं.
कंटेंट को दो मुख्य प्रकारों में बांटा जा सकता है, 1. तथ्यात्मक कंटेंट जो सदा एक सा होता है पर जानकारी प्रदान करता है. 2. अनुभव आधारित कंटेंट, जो व्यक्तिगत अनुभवों और दृष्टिकोणों को दर्शाता है.
Factual यानि तथ्यात्मक कंटेंट - यह वह कंटेंट होता है जो हमेशा एक सा होता है और समय के साथ नहीं बदलता, जैसे कि SEO क्या है, कंप्यूटर किसे कहते हैं, शेयर बाजार क्या है या ओलंपिक खेल कितने साल में होते हैं? अधिकतर Informational Content इसी केटेगरी में आते हैं.
इस तरह के कंटेंट लिखने के लिए आप ChatGPT या किसी अन्य AI टूल की मदद ले सकते हैं, क्योंकि इसमें आपको बहुत अधिक Modify करने की आवश्यकता नहीं पड़ती है, हालांकि पूरी तरह से ChatGPT पर निर्भर रहना उचित नहीं है, ChatGPT से प्राप्त कंटेंट को Human Tone में बनाना पड़ता है, जिससे पाठकों को आपका कंटेंट आसानी से समझ आ जाए.
आप 100 प्रतिशत ChatGPT के कंटेंट का इस्तेमाल नहीं कर सकते हैं. आप ChatGPT से कंटेंट लिखकर उसे अपने अनुसार Modify करके अपने ब्लॉग में पब्लिश कर सकते हैं.
Experience based यानी अनुभव आधारित कंटेंट - यह वह कंटेंट होता है जो किसी व्यक्ति के अनुभव, राय या किसी विशेष विषय पर किए गए अध्ययन पर आधारित होता है, यह समय के साथ बदल सकता है. जैसे कि एक Product की समीक्षा, किसी घटना के बारे में आपकी राय या किसी वैज्ञानिक प्रयोग के परिणाम.
इस तरह के कंटेंट में आपके व्यक्तिगत अनुभवों को शामिल करना होता है, इसलिए अनुभव आधारित कंटेंट में ChatGPT आपकी सीमित मदद कर सकता है, आप ChatGPT से कुछ सुझाव या जानकारी ले सकते हैं लेकिन मुख्य रूप से आपको अपने ही विचारों और अनुभवों को लिखना होगा.
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निष्कर्ष: Can ai content rank on google in hindi
तो दोस्तों, इस लेख में आपने जाना कि क्या AI Content गूगल पर रैंक कर सकता है, इस ब्लॉग पोस्ट को पढ़ने के बाद आप अब अच्छी तरह जान गए होंगे कि ChatGPT या अन्य AI टूल्स की मदद से कैसे बेहतरीन ब्लॉग पोस्ट लिख सकते हैं.
उम्मीद है आपको क्या kya ai content Google par Rank kar sakta hai लेख पसंद आया होगा. यदि हां, तो इस लेख को सोशल मीडिया पर अपने दोस्तों के साथ शेयर करें. लेख में अंत तक बने रहने के लिए धन्यवाद.
बहुत अच्छी जानकारी दी है आपने, ❤️🙏
ReplyDeleteDhanyawad, aisi hi jankari ke liye Blog me bane rahen..
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